
Iran Israel: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ईरान और इज़राइल के बीच संघर्षविराम की घोषणा की है, जिसे उन्होंने ईरानी ठिकानों पर बमबारी के एक दिन बाद “12-दिवसीय युद्ध” का अंत बताया। ट्रंप के अनुसार, यह संघर्षविराम अमेरिका की मध्यस्थता और कतर की कूटनीतिक भूमिका के जरिए संभव हो पाया। उन्होंने दावा किया कि दोनों देशों ने इस फैसले का समर्थन किया है, हालांकि अभी तक ईरान या इज़राइल की ओर से इस पर कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है। व्हाइट हाउस अधिकारियों के मुताबिक, इस घोषणा से पहले ट्रंप और इज़राइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के बीच एक फोन कॉल भी हुई थी।
ट्रंप ने बताया कि संघर्षविराम चरणबद्ध तरीके से लागू किया जाएगा। पहले ईरान को अपनी सैन्य कार्रवाइयां रोकनी होंगी, फिर 12 घंटे बाद इज़राइल भी जवाबी कार्रवाई बंद करेगा। हालांकि जमीनी हालात इससे अलग नजर आ रहे हैं। संघर्षविराम की घोषणा के बाद भी मंगलवार को दोनों देशों के बीच रॉकेट और मिसाइल हमले जारी रहे, जिसमें इज़राइल के बेरशेबा शहर में तीन नागरिकों की मौत की भी खबर है।
ट्रंप के मुताबिक, यह संघर्षविराम तब हुआ जब अमेरिका ने अपने बी-2 बॉम्बर्स को रणनीतिक रूप से तैनात किया और कतर ने दोनों पक्षों के बीच बातचीत में अहम भूमिका निभाई। लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि जब तक दोनों देश औपचारिक रूप से इस पर सहमत नहीं होते और जमीन पर हमले पूरी तरह बंद नहीं होते, तब तक इस संघर्षविराम की वास्तविकता संदिग्ध बनी रहेगी। फिलहाल दुनिया की नजरें इस पर टिकी हैं कि यह संघर्षविराम स्थायी शांति की ओर पहला कदम साबित होगा या सिर्फ एक अस्थायी विराम।